“11तरीकों” को, ध्यान से -“देखें और समझें” ….?
“मुगल,” “भारतीय” बन गए…? और, “भारतीय” “काफ़िर”.. पता चला
“मोमिन” “कश्मीरी” बन गए… ?
और, “कश्मीरी पंडित”, “शरणार्थी”….?
“बांग्लादेशी”- “बंगाली” बन गये….?
और, “बंगाली”, “बाहरी हिन्दू” …..?
“सैनिको” के “हत्यारे” और
“पत्थर बरसाने वाले”….
“आंदोलनकारी” बन गए…..? और,”सेना”,
“मानवाधिकार उल्लंघनकारी”….?
“टुकड़े- टुकड़े गैंग”, “देशभक्त” बन गया…?
और, “देशभक्त”,
“ब्रांडेड कट्टर अतिवादी ……?*
“चिता की लकड़ी”,
“पर्यावरणीय चिंता” बन गई…..
और, “दफनाने” में “बर्बाद होने वाली भूमि”,
“जन्मसिद्ध अधिकार” हो गई…..?
“राखी” में इस्तेमाल किया गये
-“ऊन” से, “भेड़” को “चोट” पहुंची..? और
* “बकरीद” में -“हजारों बकरियों” का “कत्ल”,
“धार्मिक स्वतंत्रता” बन गया….?*
“तुष्टिकरण”, “धर्मनिरपेक्ष” हो गया…..?
जबकि, “समानता”, “कम्यूनल” हो गई….?
“आरएसएस”, “आतंकवादी” बन गया…?
और, “ओसामा जी”…, “हाफिज साहेब”…, और -“हुर्रियत”,
“शांति के शिखर”……
“भारत माता की जय”,
“सांप्रदायिक” हो गया….?” और,
“भारत तेरे टुकडे होंगे,”
“फ्रीडम ऑफ एक्सप्रेशन हो गया….?”
11.“फूट डालो राज करो,” “नियम” बन गया…. ?
और…
“सबका साथ सबका विकास” “जुमला”…?
ज़रा “सोचो”…?
और “समझो”… कि
“आखिर” एक – “हिन्दू बहुल देश” में ….,
“ये सब” हुआ कैसे…???
यही बह धीमा जहर है जो 70 साल से आपको दिया जा रहा है और आपको पता ही नहीं चला |